अध्याय 4 — अतीत की फुसफुसाहट
ईव सिंक्लेयर
जब ईव लिडिया रोज़वुड के अव्यवस्थित लिविंग रूम में भरी हुई कुर्सी पर बैठी तो कैमोमाइल चाय और पुरानी किताबों की खुशबू ने उसे घेर लिया। दोपहर की धूप लेस वाले पर्दों से छनकर फर्श पर जटिल छाया डाल रही थी। ईव की उंगलियों ने उसके कैमरा केस के घिसे हुए चमड़े का पता लगाया, व्हिस्पर लेंस सुरक्षित रूप से अंदर छिपा हुआ था। उसका हृदय प्रत्याशा और भय के संकेत से धड़कने लगा कि वह क्या सीख सकती है।
"तो, मेरे प्रिय," लिडिया ने कहा, उसकी चमकदार आँखें चमक रही थीं और उसने ईव को एक गरमागरम कप दिया, "तुमने काफी साहसिक अनुभव किया है, है ना?"
ईव ने एक घूंट लिया, समय निकालकर विचार किया कि कितना बताना है। चाय की गर्माहट उसके अंदर कुछ ढीला कर रही थी, सवालों और अनिश्चितताओं का एक बांध टूटने की कगार पर था। "श्रीमती रोज़वुड, मैं-"
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